भोपाल / रहवासी क्षेत्र के बेस एफएआर को बढ़ाया जाए। शहर में ज्यादातर इलाकों में बेस एफएआर 1.25 है, लेकिन कुछ क्षेत्रों में इसे 0.75 रखा गया है। इससे असमानता बढ़ेगी। इस असमानता को दूर किया जाना चाहिए। यह सुझाव मास्टर प्लान -2031 के ड्राफ्ट में प्रीमियम एफएआर को लेकर आवास संघ के पूर्व चेयरमैन एएस सिंहदेव ने दिया है। उन्होंने ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलपमेंट (टीओडी) को लेकर कहा है कि टीओडी एरिया में बहुत अधिक निर्माण से हरियाली का नुकसान होना तय है, इसलिए इस पर सरचार्ज लगाकर इस राशि को शहर के अन्य इलाकों में पौधरोपण पर खर्च किया जाना चाहिए। 5 मार्च को जारी हुए मास्टर प्लान-2031 के ड्राफ्ट पर दावे, आपत्ति और सुझावों का सिलसिला जारी है। टाउन एंड कंट्री प्लानिंग में 50 से अधिक आपत्तियां और सुझाव आ चुके हैं। कलेक्टोरेट, निगम व संभागायुक्त कार्यालयों में आए आपत्ति, सुझाव इसके अलावा हैं। सिंहदेव ने मास्टर प्लान के सभी भूमि उपयोग को लेकर 12 पेज का पत्र दिया है। रोड नेटवर्क पर किए गए प्रावधानों की तारीफ की है।
सुझाव...बड़े तालाब के कैचमेंट एरिया की माइक्रो प्लानिंग की जरूरत
टीएंडसीपी को आए सुझावों में बड़े तालाब के कैचमेंट एरिया में भू उपयोग को लेकर अलग-अलग सुझाव आए हैं। कैचमेंट एरिया के रहवासियों ने नो कंस्ट्रक्शन जोन की पाबंदी को समाप्त करने की मांग की है। उनका दावा है कि यहां निर्माण से बड़े तालाब के जलभराव पर कोई असर नहीं पड़ेगा। बैरागढ़ के रहवासियों ने लालघाटी से भैंसाखेड़ी तक समानांतर सड़क निर्माण के प्रस्ताव को बरकरार रखने की मांग की है। उधर, कुछ लोगों ने कैचमेंट एरिया में निर्माण के विवाद को सुलझाने के लिए माइक्रो प्लानिंग की जरूरत बताई है। दावे, आपत्ति और सुझावों का यह सिलसिला 5 अप्रैल तक चलेगा। इसके बाद इन पर सुनवाई होगी। डायरेक्टर टी एंड सीपी की रिपोर्ट के बाद राज्य शासन इस पर अंतिम निर्णय लेगा।